राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने शिमला के उपनगर समरहिल स्थित शिव बावड़ी जाकर बचाव कार्यों का जायज़ा लिया।मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू और स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री कर्नल (डॉ.)धनीराम शांडिल भी इस अवसर पर उनके साथ थे।राज्यपाल ने सूचना मिलते ही घटनास्थल पर जाने के निर्देश दिए।राज्यपाल के सचिव भी उनके साथ थे।वह बालूगंज चौक से पैदल दुर्घटनास्थल तक पहुंचे और वहां की स्थिति देखकर भावुक हो गए।

अनौपचारिक बातचीत में उन्होंने कहा कि शिव बावड़ी में बादल फटने से आई प्राकृतिक आपदा हृदयविदारक है। प्रदेश के अनेक हिस्सों से जान-माल के नुकसान की सूचना मिल रही है लेकिन इस घटना से सभी स्तब्ध हैं।उन्होंने वहां मौजूद प्रशासन को बचाव कार्यों में और तेजी लाने के निर्देश दिए ताकि मलबे में दबे लोगों को बचाया जा सके।

इसके बाद,राज्यपाल सोलन जिले के ममलीग पंचायत के अर्न्तगत जडौण गांव पहंचे।बिती रात को यहां भारी भू-स्ख्लन से दबकर एक ही परिवार के सात व्यक्तियों की मृत्यु हो गई।यहां दो किलोमीटर का दुर्गम रास्ता पैदल तय करते हुए राज्यपाल ने प्रभावित परिवार के अन्य सदस्यों से भेंट की।वहां उपस्थित पूरे गांव को सांत्वना देते हुए राज्यपाल ने कहा कि इस आपदा की घड़ी में पूरा प्रदेश उनके साथ है। भू-स्ख्लन की चपेट में आने से पूरा मकान क्षतिग्रस्त हो गया। गांववालों के सहयोग से बाकि लोगों को बचा लिया गया और पशुओं को बचा लिया गया।राज्यपाल ने दोनों की घटनाओं में दिवंगत आत्माओं की शांति के लिए प्रार्थना की।उन्होंने घायलों के शीघ्र उपचार और स्वास्थ्य लाभ की कामना की।प्रदेश में भारी बारिश से हुए जान-माल के नुकसान के दृष्टिगत स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर राजभवन में आयोजित किए जाने वाले ‘एट होम’ को रद्द करने का निर्णय लिया है।

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