
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने प्रेस बयान जारी करते हुए कहा कि राज्य सरकार समाज के कमजोर वर्गों के उत्थान और कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है,ताकि समाज में सभी को समान अवसर और संसाधन उपलब्ध हो सकें। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार ने ऐसे वर्गों के लिए कई कल्याणकारी योजनाएं शुरू की हैं,ताकि वह सम्मानजनक जीवन जी सकें।उन्होंने कहा कि स्वर्ण जयंती आश्रय योजना के तहत 50 हजार रुपये से कम आय वाले अनुसूचित जाति,अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग के परिवारों को घर के निर्माण के लिए 1.50 लाख रुपये प्रदान किए जा रहे हैं।उन्होंने कहा कि बीते वित्तीय वर्ष में 1,150 लाभार्थियों को आवास सुविधा के लिए 17.25 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं।ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि इसके अलावा प्रदेश सरकार कमजोर वर्गों को वित्तीय सहायता के साथ-साथ पेशेवर प्रशिक्षण भी दे रही है,ताकि वह आत्मनिर्भर बन सकें।इसके अलावा उन्हें अपना उद्यम लगाने के लिए मशीनरी और उपकरण भी दिए जा रहे हैं।कमजोर वर्गों के बच्चों को प्रदेश सरकार निशुल्क कम्पयूटर प्रशिक्षण प्रदान कर रही है।उन्होंने कहा कि नाइलेट और सी-डेक द्वारा प्रदेश में संचालित 97 केंद्रों में कम्पयूटर एप्लीकेशन में पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा और डिप्लोमा पाठ्यक्रम चलाए जा रहे हैं। प्रशिक्षण के दौरान विद्याािर्थयों को प्रति माह 1000 रुपये प्रोत्साहन राशि और सरकारी कार्यालयों में छह माह के दक्षता प्रशिक्षण के दौरान 1500 रुपये प्रतिमाह प्रदान किए जा रहे हैं।गत वित्तीय वर्ष में 3,637 लाभार्थियों को इसका लाभ मिला है।उन्होंने कहा कि राज्य सरकार 50 हजार से कम आय वाले अनुसूचित जाति,अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्गों को औजारों और उपकरणों की खरीद के लिए 1300 रुपये,प्रशिक्षितों कोे सिलाई मशीन के लिए 1800 रुपये प्रदान कर रही है।श्री सुक्खू ने कहा कि प्रदेश सरकार शिक्षा,स्वास्थ्य,सामाजिक,आर्थिक,कौशल विकास, पानी,जलक्रीड़ा गतिविधियों,स्वच्छता और सौर ऊर्जा के लिए अल्पसंख्यकों को वित्त पोषित कर रही है।उन्होंने कहा कि काजा में संयुक्त केंद्र के निर्माण पर 12.77 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे हैं।उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यकों के कल्याण के लिए प्रदेश सरकार ने 24.45 करोड़ की 11 परियोजनाओं को मंजूरी दी है।उन्होंने कहा कि राज्य सरकार समाज के कमजोर वर्गों को सशक्त करने के लिए समर्पित है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार का प्रयास है कि राज्य के हर व्यक्ति को समान अवसरों और संसाधनों की पूरी पहुंच हासिल हो।
